सिलीगुड़ी, 16 मार्च (नि.सं)। सीए किशन कुमार अग्रवाल अपहरण कांड में एक नया खुलासा हुआ है। इस मामले के मुख्य आरोपी प्रदीप तिवारी को डिटेक्टिव डिपार्टमेंट के अधिकारियो ने उत्तर प्रदेश से गिरफ्तार किया।
ज्ञात हो कि सिलीगुड़ी के पंजाबीपाड़ा के निवासी किशन कुमार का गत 7 जनवरी को अपरहण हो गया था। 8 जनवरी को सीए के परिवार वालों द्वारा सिलीगुड़ी पुलिस थाने में अपहरण की शिकायत दर्ज करवाई गई थी। इस मामले की छानबीन करते हुए सिलीगुड़ी मेट्रोपोलिटन की पुलिस ने 11जनवरी को अपहरण में शामिल 4 लोगों को बिहार के मोतीपूर से गिरफ्तार के साथ ही सीए किशन कुमार अग्रवाल को सही सलामत बरामद भी किया था।
पुलिस ने इनके पास से करीब 48 लाख रूपये भी जब्त किये थे। गिरफ्तार चारों आरिपायों से पूछताछ के बाद पुलिस ने मुख्य आरोपी रंजीत घिमरे का नाम सामने आया था। जिसके बाद पुलिस ने रंजीत घिमरे की पत्नी रेणुका घिमरे को 26 फरवरी को गिरफ्तार किया। पुलिस ने गिरफ्तार सभी आरोपीयों को अलग-अलग बैठाकर पूछताछ की जिसमें एक और बड़ा खुलासा हुआ। डीडी सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इस पूरे मामले का मास्टरमाइंड प्रदीप तिवारी है।
रंजीत घिमरे व उसकी पत्नी रेणुका घिमरे ने उत्तर प्रदेश के रहने वाले प्रदीप तिवारी के साथ मिलकर इस अपहरण का प्लान तैयार किया और 7 फरवरी को पंजाबी पाड़ा इलाके से किशन कुमार अग्रवाल अपहरण किया। इसके बाद डीडी के एसीपी राजन छेत्री के नेतृत्व में प्रदीप तिवारी को पकड़ने के लिए एक टीम तैयार कि। प्रदीप तिवारी को पकड़ने के लिए सबसे पहले मोतीपूर में छापा मारा गया।
जहां पर डीडी की टीम को पता चला कि प्रदीप तिवारी उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिला में छुपा हुआ है। इसके बाद डीडी की टीम उत्तर प्रदेश पहुंची। जहां पर स्थानीय पुलिस की सहयोगिता से कुशीनगर जिला अंतर्गत पथरेवा थाना इलाके में अभियान चलाकर प्रदीप तिवारी को 14 मार्च को गिरफ्तार किया गया। आरोपी को उत्तर प्रदेश से ट्रांजिट रिमांड पर लेकर रविवार देर पुलिस सिलीगुड़ी पहुंची।
जिसके बाद आज डीडी की टीम ने आरोपी को सिलीगुड़ी अदालत में पेश किया। इस मामले की छानबीन के लिए डीडी ने अदालत से प्रदीप तिवारी की रिमांड की मांग की है।