उत्तरबंग मेडिकल कॉलेज व अस्पताल में इलाज के लिए आये कई मरीज और उनके परिजन को अस्पताल में फंस जाते है। कोरोना से निपटने में राज्य में लगाये गये पाबंदियों के चलते सार्वजनिक परिवहन बंद है। ऐसे में दूर-दराज से आए मरीजों के परिजनों के लिए ‘दीदीमुनी कैंटीन’ ही एकमात्र सहारा है।
स्कूल की शिक्षिका सुनंदा सरकार ने उनके लिए निःशुल्क भोजन की व्यवस्था की है। दोपहर 2 बजे मेडिकल परिसर में दीदीमुनी कैंटीन आ जाती है। दीदीमुनी कैंटीन के मेनू में चावल, अंडे, फ्राइड राइस, पनीर और सोयाबीन होता है।शिक्षिका सुनंदा सरकार ने कहा कि मैं पिछले 14 मई से भोजन की व्यवस्था कर रही हूं।
मैं स्वर्गीय दादी आशलता फाउंडेशन के नाम से यह काम कर रही हूं। जब तक राज्य में पाबंदियां जारी रहेंगी तब तक मैं भोजन की व्यवस्था करूंगी।प्रतिदिन दो सौ से अधिक मरीजों के परिजन, स्वास्थ्यकर्मी, एंबुलेंस चालक उनका बना हुआ भोजन खा रहे हैं। इस कार्य में उनका पति और मिठू पाल व अमल पाल ने सहयोग का हाथ बढ़ाया है। वहीं, इस परिस्थिति में मरीज के परिजन दीदीमणि कैंटीन से खाना पाकर काफी खुश है।