सिलीगुड़ी, 21 जून (नि.सं.)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गरीब महिलाओं की सुविधा के लिए उज्जवला योजना की शुरुआत की है। गरीब महिलाओं को धुंआ से छुटकारा मिल सकें इसलिए इस योजना की शुरुवात की गई है। योजना के तहत गरीब महिलाओं को मुफ्त में गैस सिलेंडर दिए जाते है। सिलीगुड़ी नगर निगम के 46 नंबर वार्ड संलग्न चंपासारी ग्राम पंचायत अंतर्गत सिमुलबाड़ी इलाके से इस योजना के नाम पर अवैध रूप से रूपये लेने का मामला सामने आया है।
आरोप है कि ग्रामीण इलाके की महिलाओं को गैस सिलेंडर के नाम पर हजारों रूपये लिए जा रहे है। वहीं, कइयों को उज्जवला योजना का गैस सिलेंडर तो नहीं मिला, लेकिन सब्सिडी मिल रही है। सिमुलबाड़ी इलाके की महिलाओं का आरोप है कि उज्ज्वला योजना के तहत मिलने वाले गैस सिलेंडर के लिए 500 से 1200 रूपये चुकाने पड़ रहे हैं। जबकि इस योजना के तहत महिलाओं को मुफ्त में गैस सिलेंडर देने की बात है।
सिमुलबाड़ी की रहने वाली एक महिला ने कहा कि उसने करीब डेढ़ वर्ष पहले उज्जवला योजना के तहत गैस सिलेंडर लेने के लिए फॉर्म भरी थी। अभी तक उन्हें गैस सिलेंडर नहीं मिला है। हालांकि पिछले तीन महिने से उनके बैंक अकांउट में गैस सिलेंडर के सब्सिडी के रूप में 233 रुपये मिल रहे है। यानी उनके नाम का गैस सिलेंडर किसी को आवंटित करा दिए गए है।
वहीं, इलाके कि कुछ और महिलाओं ने कहा कि उन लोगों ने उज्जवला योजना वाली गैस सिलेंडर लेने के लिऐ 500 से 1200 रूपये तक देने पड़े है। बदले में उन लोगों को कोई रशीद भी नहीं दी गई। महिलाओं ने कहा कि उन्होंने देवीडांगा स्थित गैस वितरक को पैसे दे दिए हैं। अब सवाल यह उठता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ड्रीम प्रोजेक्ट ‘उज्ज्वला योजना’ के नाम पर गरीब महिलाओं के साथ ठगी और धोखेबाजी क्यों हो रही है। क्या आरोपी एजेंसी संचालकों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।