सिलीगुड़ी, 2 दिसंबर (नि.सं.)। सीमा सुरक्षा बल भारत की अखंडता की रक्षा के लिए सीमा पर सदैव सतर्क रहते हैं। बीएसएफ उत्तर बंगाल फ्रंटियर के महानिरीक्षक सूर्यकांत शर्मा ने 59वीं स्थापना वर्षगांठ पर पिछले एक वर्ष की उपलब्धियों की समीक्षा की। सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ)की स्थापना 1965 में हुई थी। लेकिन इस सीमा की स्थापना 1988 में उत्तर बंगाल में की गई थी। सबसे बड़ी सीमा होने के बावजूद पिछले एक साल में भारत-बांग्लादेश सीमा पर अपने ऑपरेशन का पैटर्न काफी बढ़ गया है और बीएसएफ आधुनिक तरीके अपनाकर तस्करी और घुसपैठ रोकने में सफल रही है। महानिरीक्षक ने स्थापना की वर्षगांठ पर एक पत्रकार सम्मेलन कर इसकी जानकारी दी है।
बीएसएफ उत्तर बंगाल फ्रंटियर के महानिरीक्षक सूर्यकांत शर्मा ने कहा कि अगस्त महीने में बांग्लादेश में नई सरकार के गठन के बाद से बनी स्थिति के बावजूद बीजीबी और बीएसएफ के बीच संबंध अच्छे हैं। घुसपैठ को रोकने के लिए सीसीटीवी, बायोमेट्रिक गेट सहित उच्च गुणवत्ता वाले उपकरणों की मदद से कई उपाय किए गए हैं। हालांकि, इसके समाधान के लिए 10 फीसदी कंटीले तारों की बाड़ लगाने पर काम किया जा रहा है। बांग्लादेश से घुसपैठ रोकने के लिए सारे इंतजाम किये जा रहे हैं। मवेशि तस्करी रोकने के लिये सारे इंतजाम किये जा रहे हैं। तीनबीघा कॉरिडोर में अनुप्रवेश रोकने के लिए सभी इंतजाम किये गये हैं।